'क्या राहुल गांधी को मिलेगा संदेश?', ट्रंप-ममदानी की मीटिंग पर शशि थरूर ने किया था कमेंट, BJP न

अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप और जोहरान ममदानी के राजनीतिक सहयोग पर शशि थरूर ने क्या कहा?

कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और नवनिर्वाचित मेयर जोहरान ममदानी के राजनीतिक सहयोग पर पोस्ट किया है। उन्होंने कहा है कि डोनाल्ड ट्रंप ने उनकी टिप्पणियों से खुश हैं और उन्हें यह बताया है कि मतदाताओं की इच्छा का सम्मान करने और देश के बेहतर हित के लिए मिलकर काम करने की जरूरत है।

लेकिन भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने शशि थरूर के इस बयान पर तीखा हमला किया है। भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने कहा है कि कांग्रेस नेताओं को यह याद दिलाया जाना चाहिए कि परिवार को नहीं, बल्कि भारत को प्राथमिकता देनी चाहिए। लेकिन क्या राहुल गांधी को यह मैसेज मिलेगा?

शशि थरूर ने पहले ही कई बार भाजपा पर तंज किया है। हाल ही में उन्होंने एक कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण की तारीफ की, जिसके बाद उनकी साथी पार्टी नेताओं ने थरूर की प्रतिक्रिया की कड़ी आलोचना की थी।

इस तरह, शशि थरूर ने एक बार फिर से कांग्रेस को याद दिलाया है कि परिवार को नहीं, बल्कि भारत को प्राथमिकता देनी चाहिए। लेकिन यह सवाल उठता है कि क्या राहुल गांधी को यह मैसेज मिलेगा?
 
अरे वाह! डोनाल्ड ट्रंप और जोहरान ममदानी के साथ शशि थरूर का राजनीतिक सहयोग, यह तो बहुत ही रोचक बात है 🤔। लेकिन सच्चाई यह है कि डोनाल्ड ट्रंप ने अभी तक भारत में कोई प्रयास नहीं किया है और जोहरान ममदानी की भी ऐसी चीजों में शामिल होने की रुचि क्या है? 🤷‍♂️

और भाजपा ने तो बिल्कुल सही कहा, परिवार को नहीं, बल्कि भारत को प्राथमिकता देना चाहिए। लेकिन यह सवाल उठता है कि राहुल गांधी को शशि थरूर के बयान से यह सीखने में सक्षम होगा? 🤔

मेरी राय में, शशि थरूर ने एक बार फिर से कांग्रेस को याद दिलाया है कि वे भारत के लिए कुछ कर सकते हैं और नहीं। लेकिन अब यह सवाल उठता है कि क्या राहुल गांधी इस मौके पर फायदा उधार लेगा? 🤞
 
अमेरिकी राजनीति में ट्रंप और ममदानी के बीच सहयोग की बातें सुनकर मुझे लगता है कि दोनों पक्षों ने अपने प्रदर्शन की कमियों पर ध्यान देने की जरूरत है। अमेरिकी राष्ट्रपति को खुश करने के लिए थरूर जी ने बहुत बोला है, लेकिन इससे कोई वास्तविक बदलाव नहीं आ सकता। 🤔

भाजपा के हमलों से मुझे लगता है कि राजनीतिज्ञ अपने मत भेद को तय करने की दिशा में झुक रहे हैं। राहुल गांधी जी को भी इस बात पर ध्यान रखना चाहिए कि उनकी पार्टी अपने वर्चस्व को बचाने के लिए सही रणनीति बनानी चाहिए। देश की समस्याओं का समाधान करने के लिए एक सामूहिक प्रयास होना चाहिए। 🌟
 
अगर शशि थरूर ऐसा कहने के बाद भी नहीं बदलेंगे तो शायद हमारे देश में कभी भी बदलाव न होगा... सोच-समझकर और सच्चाई पर आधारित नीतियों को लागू करने की जरूरत है...
 
शशि थरूर के बयान से लगता है कि वह अभी भी अपनी पार्टी की नीतियों और रणनीतियों पर अभ्यास कर रहे हैं। यह बयान बिल्कुल सही नहीं है, लेकिन इसे उनकी दोस्ती से जोड़कर कहा जा सकता है। लेकिन याद रखें कि शशि थरूर एक विशेषज्ञ हैं और उनकी बातों में मासूमियत नहीं होती।
 
अरे बेटा, ये तो अमेरिका में ट्रंप और इरान के दुश्मन जोहरान के साथ मिलकर काम करने पर बात कर रहे हैं। लेकिन भारत में हमारी सरकार की नीतियों पर क्या ध्यान दिया जा रहा है? मुझे लगता है कि अमेरिका और भारत दोनों ही एक ही दिशा में बढ़ रहे हैं, लेकिन हमारी सरकार को यह समझने की जरूरत है कि कैसे हम अपने पड़ोसी देशों से बातचीत कर सकते हैं और उनके साथ सहयोग कर सकते हैं।

लेकिन भाजपा नेताओं को लगता है कि कांग्रेस नेताओं को यह याद दिलाना चाहिए कि परिवार को प्राथमिकता देनी चाहिए। अरे, ये तो एक बड़ा भूलाव है। हमें अपने देश को पहले सोचना चाहिए, न कि अपने परिवार को। और राहुल गांधी को यह मैसेज मिलेगा या नहीं, इसकी बात तो कहीं न कहीं भारतीय जनता पार्टी की खुद की है 🤔
 
Wow 🤔, यह तो बहुत ही रोचक बात है। शशि थरूर ने सचमुच परिवार को नहीं, बल्कि भारत को प्राथमिकता देने की बात कही है, जिससे हमें सोचने पर मजबूर होता है कि यह मैसेज राहुल गांधी तक पहुंचेगा या नहीं। भाजपा ने उनके बयान पर हमला किया है, लेकिन शशि थरूर ने पहले से ही कई बार भाजपा पर तंज किया है। यह देखकर रोचक है कि क्या अब राहुल गांधी इस मैसेज को गंभीरता से लेंगे।
 
क्या अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप और मेयर ममदानी के बीच कोई वास्तविक सहयोग है? मैंने अपने दोस्तों से पूछा है कि क्या वो सच है, लेकिन सब कहते हैं कि यह ज्यादा खेल है। 🤔

कांग्रेस नेताओं की तरह भाजपा नेताओं को भी अपने शब्दों में फंसना पड़ता है और दूसरों को बदनाम करने की कोशिश करते रहते हैं। लेकिन याद रखिए, यह खेल हमेशा नहीं जीतता, कई बार गलती होती है। 🤦‍♂️

मैं राहुल गांधी से सवाल पूछना चाहता हूं कि क्या वह सच्चाई में विश्वास करते हैं, या फिर खेल में खेल रहे हैं। हमें जानते हैं कि वह एक अच्छे नेता हो सकते हैं, लेकिन इसके लिए प्रयास करना भी जरूरी है। 📚
 
मैंने हाल ही में अपने परिवार की बातचीत से बहुत मजा लिया... मेरी पत्नी ने मुझे बताया कि उसने अपने दोस्त को राहुल गांधी को एक ईमानदार नेता के रूप में नहीं देखा, बल्कि मीडिया और पब्लिकिस्ट सोशल लोड्स से ही जानती है...

मुझे लगता है कि शशि थरूर अपने बयान से सरकार को धमकाने की कोशिश कर रहे हैं... मैंने देखा है कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बारे में बहुत बात करते हैं, लेकिन उनके देश में भी इतनी गरीबी और असमानता क्यों है?

आज का समय जानबूझकर नकारात्मकता से भरा हुआ है... लोग यही बात करते रहते हैं कि सरकार से नफरत करते हैं, लेकिन वास्तविकता में हमें अपने देश और समाज को फायदे के लिए काम करना चाहिए।
 
देखिए तो शशि थरूर ने फिर से भाजपा पर हावी होने की कोशिश की है, लेकिन उनके पास अभी भी देश को बेहतर बनाने का कोई योजना नहीं है। वे हमेशा अपने खिलाफ लड़ते रहते हैं और दूसरों को अपना मुद्दा समझने का मौका न मिलता। यह उनकी कमजोरी है जिस पर भाजपा ने फायदा उठाया है।

मुझे लगता है कि राहुल गांधी को यह मैसेज जरूर मिलेगा, लेकिन वह इस पर खुद को स्थिर नहीं कर सकते। उनको पता होना चाहिए कि भारत को बेहतर बनाने के लिए हमें एकजुट होकर काम करने की जरूरत है, न कि एक व्यक्ति द्वारा।
 
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और जोहरान ममदानी के बीच राजनीतिक सहयोग पर शशि थरूर ने क्या कहा याद है, लेकिन उनकी बात सुनकर लगता है कि वह दोनों अपने मतदाताओं को खुश रखने के लिए एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं। तो फिर वो एक-दूसरे की बातें सुनना क्यों नहीं चाहते? 🤔

और भाजपा ने शशि थरूर के बयान पर हमला किया तो यह अच्छा है, लेकिन उनके द्वारा कही जाने वाली बातें सुनकर लगता है कि वो अपनी सरकार को खुश रखने के लिए कुछ भी कहते हैं। तो फिर वो राहुल गांधी और शशि थरूर की तरह नहीं हैं जिन्हें अपनी बात कहने का मौका मिलता है। 🙅‍♂️

मुझे लगता है कि शशि थरूर ने सही कहा है, परिवार को नहीं, बल्कि भारत को प्राथमिकता देनी चाहिए। लेकिन यह सवाल उठता है कि हमें अपने देश और इसके लोगों के लिए क्या करना चाहिए? 🤝
 
अरे वाह! शशि थरूर की बात सुनकर लगता है कि उन्हें हमेशा भाजपा पर तंज करने का मौका मिलता है 🤣। लेकिन यह जरूरी नहीं है कि उनकी बात मानी जाए। शहजाद पूनावाला की बात भी सही कह सकती है, क्योंकि परिवार को पहले नहीं, बल्कि देश को प्राथमिकता देना जरूरी है। राहुल गांधी को तो शशि थरूर की बातें पसंद नहीं आएंगी, लेकिन उन्हें भी याद दिलाने की जरूरत है कि विपक्ष को भी अपना मुकाबला करना होता है। हमें सिर्फ एक पक्ष की आलोचना नहीं, बल्कि राजनीतिक लाइनों पर चलने की समझ देनी चाहिए।
 
बोले तो नहीं दिख रहे... कोई मतदाताओं की इच्छा को और भी बुरी तरह से चीरने का तरीका खोजता है... 🤦‍♂️
 
ट्रंप और ममदानी के बीच सहयोग के विषय पर शशि थरूर की बात सुनकर मुझे लगता है कि युवाओं को भारतीय राजनीति में अधिक जागरूक रहना चाहिए।
 
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